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तूफानी पारी से MI के खिलाफ जीत के बाद बोले श्रेयस, कहा- बड़े मौकों पर संयम से बेहतर प्रदर्शन  – Utkal Mail

अहमदाबाद। श्रेयस अय्यर के 41 गेंद में नाबाद 87 रन की मदद से पंजाब किंग्स ने दूसरे क्वालीफायर में रविवार को मुंबई इंडियंस को पांच विकेट से हराकर फाइनल में प्रवेश कर लिया और इसके साथ ही यह भी तय हो गया कि इंडियन प्रीमियर लीग को इस सत्र में एक नया चैम्पियन मिलेगा। अब तीन जून को फाइनल में पंजाब का सामना रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरू से होगा और दोनों टीमों ने 18 साल में एक बार भी खिताब नहीं जीता है। 

श्रेयस की तूफानी पारी

पिछले साल अपनी कप्तानी में कोलकाता नाइट राइडर्स को खिताब दिलाने वाले श्रेयस ने दबाव के क्षणों में परिपक्व पारी खेलते हुए 11 साल में पहली बार पंजाब को फाइनल में पहुंचाया। मुंबई के खतरनाक गेंदबाजी आक्रमण के सामने जीत के लिये 204 रन का लक्ष्य आसान नहीं था लेकिन श्रेयस ने आक्रामक बल्लेबाजी की नयी परिभाषा गढी। उन्होंने आठ छक्कों और पांच चौकों की मदद से नाबाद 87 रन बनाये जिसकी मदद से पंजाब किंग्स ने पांच विकेट पर 207 रन बनाये । श्रेयस ने 19वें ओवर की आखिरी गेंद पर छक्का जड़कर टीम को जीत तक पहुंचाया। इससे पहले बारिश के कारण मैच सवा दो घंटे विलंब से शुरू हुआ। 

पंजाब किंग्स के कप्तान श्रेयस अय्यर ने कहा कि बड़े मौकों पर जब आप संयम रखते है तो आपके अच्छे प्रदर्शन की संभावना बढ़ जाती है। आईपीएल के दूसरे क्वालीफायर में मुम्बई इंडियंस को पांच विकेट से हराकर फाइनल में जगह बनाने के बाद पंजाब किंग्स के कप्तान श्रेयस ने कहा कि मुझे बड़े मौको पर खेलना अच्छा लगता है, मैं हमेश अपने साथियों से कहता हूं जब आप बड़े मौको पर संयम रखते हैं तो आपके अच्छा प्रदर्शन करने की संभावना बढ़ जाती है। उन्होंने कहा कि आरसीबी के खिलाफ हार के बाद हमने इस पर अधिक बात नहीं की कि हमने कहां गलती की। 

हमें पता है कि हमने इस सत्र कैसा क्रिकेट खेला है। भले ही कुछ खिलाड़ियों को बड़े मौको पर खेलने का अनुभव नहीं है लेकिन वे साहसी हैं। युवा और अनकैप्ड खिलाड़ियों अय्यर ने कहा कि मैं उन्हें अधिक निर्देश नहीं देता, बस उन्हें उनके अंदाज़ में खेलने देता हूं। उनमें जो निडरता है, वही मुझे पसंद है। भले ही अनुभव कम हो, लेकिन उनके पास विचार होते हैं और वो उन्हें साझा भी करते हैं। आखिर में उन्होंने कहा कि मैं अभी इसी पल में हूं, इस जीत का आनंद उठा रहा हूं। लेकिन काम अभी आधा ही हुआ है।

फाइनल में पंजाब किंग्स 

मुंबई के लिये जसप्रीत बुमराह का खराब फॉर्म भारी पड़ा जिन्होंने चार ओवर में 40 रन दे डाले और एक भी विकेट नहीं ले सके। इसके अलावा मुंबई की फील्डिंग भी काफी लचर थी और नेहाल वढेरा (48) को दो जीवनदान देना भारी पड़ गया। नमन धीर ने मिचेर सेंटनेर की गेंद पर आसान कैच टपकाया जबकि ट्रेंट बोल्ट ने हार्दिक पंड्या के ओवर में वढेरा का कैच फाइन लेग पर उस समय छोड़ा जब वह 13 रन पर खेल रहे थे। वढेरा ने इसका फायदा उठाते हुए 29 गेंद में चार चौकों और दो छक्कों की मदद से 48 रन बनाये। उन्होंने कप्तान श्रेयस के साथ चौथे विकेट के लिये 84 रन भी जोड़े। 

बोल्ट ने प्रभसिमरन सिंह (छह) को जल्दी आउट कर दिया जबकि प्रियांश आर्य (20) अच्छी शुरूआत को बड़ी पारी में नहीं बदल पाये। इसके बाद जोश इंगलिस (21 गेंद में 38 रन) ने पंजाब पर से शुरूआती दबाव हटाया। इंगलिस ने बुमराह को छठे ओवर में दो छक्के और दो चौके जड़कर 20 रन लिये। पंजाब के तीन विकेट 72 रन पर गिरने के बाद श्रेयस और वढेरा ने कमान संभाली। श्रेयस ने 13वें ओवर में रीसे टॉपली को तीन छक्के लगाकर जीत की राह आसान की। 

इससे पहले सूर्यकुमार यादव और तिलक वर्मा की अगुवाई में बल्लेबाजों के उम्दा प्रदर्शन के दम पर मुंबई इंडियंस ने छह विकेट पर 203 रन बनाये । करीब सवा दो घंटे विलंब से शुरू हुए मुकाबले में एक भी ओवर कम नहीं किया गया । मुंबई के लिये जॉनी बेयरस्टो (38), तिलक वर्मा (44) और सूर्यकुमार (44) ने बड़े स्कोर की नींव रखी । नमन धीर ने भी 18 गेंद में 33 रन बनाकर टीम को 200 रन के पार पहुंचाया । रोहित शर्मा (आठ) पिछले मैच की तरह मिले जीवनदान का फायदा नहीं उठा सके। 

तीसरे ओवर में काइल जैमीसन की गेंद पर अजमतुल्लाह उमरजइ ने उनका कठिन कैच टपकाया । अगले ओवर में हालांकि रोहित अपना पसंदीदा पुल शॉट खेलने के प्रयास में मार्कस स्टोइनिस की गेंद पर डीप स्क्वेयर लेग में विशाख विजयकुमार को कैच दे बैठे। शुरूआती झटके से अविचलित मुंबई ने दस रन प्रति ओवर की दर से रन बनाना जारी रखा । तिलक ने दूसरी ही गेंद पर छक्का लगाया जबकि दूसरे छोर से बेयरस्टो भी काफी आक्रामक खेल रहे थे। दोनों ने दूसरे विकेट के लिये 51 रन की साझेदारी की। 

मुंबई ने पावरप्ले में छह ओवर में एक विकेट पर 65 रन बनाये। बेयरस्टो ने छठे ओवर में उमरजइ को कई बेहतरीन स्ट्रोक्स लगाकर 15 रन निकाले। लेकिन वह अगले ओवर में विजयकुमार की गेंद पर विकेटकीपर जोश इंगलिस को कैच दे बैठे। सूर्यकुमार के आते ही पंजाब ने स्पिनर युजवेंद्र चहल को गेंद सौंपी लेकिन चहल अपने आखिरी ओवर में ही विकेट ले पाये। सूर्यकुमार ने 26 गेंद में 44 रन बनाये जिसमें चार चौके और तीन छक्के शामिल थे।  

वह चहल के आखिरी ओवर की पांचवीं गेंद पर फ्रंटफुट पर खेलने के प्रयास में डीप मिडविकेट पर नेहाल वढेरा को कैच देकर लौटे। उन्होंने तिलक के साथ तीसरे विकेट के लिये 72 रन जोड़े । दो गेंद बाद तिलक भी पवेलियन लौट गए जिन्होंने 29 गेंद में दो छक्के और दो चौके जड़ते हुए 44 रन बनाये । वह काइल जैमीसन की गेंद पर मिड आफ में प्रियांश आर्य को कैच देकर लौटे । मुंबई के कप्तान हार्दिक पंड्या ने 12 गेंद में 15 रन बनाये 

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