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राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और गृहमंत्री ने दी बोहाग बिहू की शुभकामनाएं, कहा पूरी हो लोगों की आकांक्षाओं – Utkal Mail

गुवाहाटी, अमृत विचारः राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सोमवार को असम के लोगों को बोहाग बिहू के अवसर पर बधाई दीं। बोहाग माह के पहले दिन से शुरू होने वाला ‘रोंगाली बिहू’ असमिया नववर्ष का प्रतीक है और पूरे राज्य में इस अवसर पर उत्सव का माहौल है। यह पर्व बोहाग के पूरे महीने में मनाया जाता है। राष्ट्रपति मुर्मू ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर भारत और विदेशों में बसे सभी भारतीयों को बोहाग बिहू के साथ-साथ बैसाखी, विशु, पोइला बोइशाख, मेशादी, वैसाखड़ी और पुथांडु पिरापु की भी बधाई दीं। 

प्रधानमंत्री मोदी ने सोशल मीडिया मंच में अपने पोस्ट में लिखा, ‘‘आप सभी को बोहाग बिहू की ढेरों शुभकामनाएं! यह नववर्ष आपके जीवन में नई शुरुआत, खुशहाली और समृद्धि लेकर आए। सभी की अच्छी सेहत और आकांक्षाओं की पूर्ति के लिए प्रार्थना करता हूं।’’ 

गृह मंत्री अमित शाह ने भी ‘एक्स’ पर अपने संदेश में कहा, ‘‘ब्रह्मपुत्र के तट पर असमिया नववर्ष के स्वागत की यह खुशी, सबके लिए समृद्धि और कल्याण लेकर आए।’’ असम के राज्यपाल लक्ष्मण प्रसाद आचार्य ने लोगों को शुभकामनाएं देते हुए कहा कि ‘गरु बिहू’ से उत्सव की शुरुआत लोगों के जीवन में कृषि की अहम भूमिका को दर्शाती है। 

मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने अपने संदेश में कहा, ‘‘इस विशेष अवसर पर हमारी जीवन रेखा, पशुधन की कुशलता और समृद्धि के लिए मेरी प्रार्थनाएं।’’ उन्होंने ‘एक्स’ पर एक अन्य पोस्ट में कहा, ‘‘आज असम ‘गरु बिहू’ मना रहा है। यह दिन गोमाता की पूजा को समर्पित है, जिन्हें सनातन धर्म में मातृत्व और पवित्रता का प्रतीक माना जाता है।’’ मुख्यमंत्री ने कहा कि असमिया समाज में गाय को केवल पशु नहीं, बल्कि परिवार के सदस्य की तरह पूजा जाता है। 

उन्होंने कहा, ‘‘प्राकृतिक जीवनशैली और पारंपरिक मूल्यों से जुड़ाव के इस दौर में, गरु बिहू हमें हर नए मौसम की शुरुआत कृतज्ञता और श्रद्धा से करने की याद दिलाता है।’’ बोहाग बिहू का पहला दिन ‘गरु बिहू’ के रूप में मनाया जाता है, जिसमें पशुओं को स्नान कराकर पूजा की जाती है, जबकि दूसरे दिन ‘मनुह बिहू’ पर लोग एक-दूसरे को शुभकामनाएं देते हैं। पहले सप्ताह के सातों दिन प्रकृति और समाज के विभिन्न पहलुओं को समर्पित होते हैं जिनमें बिहू गीत और नृत्य आयोजन का विशेष स्थान होता है। राज्य के विभिन्न हिस्सों में लोग उपहारों का आदान-प्रदान कर, परिजनों से मिलकर और सांस्कृतिक आयोजनों में अपने पसंदीदा कलाकारों की प्रस्तुतियों के साथ इस पर्व का आनंद लेते हैं। 

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