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BFI Elections: IOA अध्यक्ष पीटी उषा ने बीएफआई चुनावों में देरी का पता लगाने के लिए गठित की समिति – Utkal Mail

नई दिल्ली। भारतीय ओलंपिक संघ (आईओए) की प्रमुख पीटी उषा ने भारतीय मुक्केबाजी महासंघ (बीएफआई) के चुनावों में हो रही देरी के कारणों की जांच और समयबद्ध व निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करने के लिए एक रोडमैप तैयार करने हेतु तीन सदस्यीय ‘तथ्य-जांच’ समिति का गठन किया है। शुक्रवार को गठित इस समिति की अगुवाई आईओए के कोषाध्यक्ष सहदेव यादव करेंगे, जबकि आईओए कार्यकारी परिषद के सदस्य भूपेंद्र सिंह बाजवा और वकील पायल काकरा इसके अन्य सदस्य हैं। 

11 जुलाई को जारी आईओए के कार्यालय आदेश में पीटी उषा ने बताया कि बीएफआई की मौजूदा कार्यकारी समिति का कार्यकाल 2 फरवरी को समाप्त हो चुका था, लेकिन इसके बाद नए चुनाव नहीं हो सके हैं। आदेश में कहा गया कि यह समिति बीएफआई की वर्तमान कानूनी और प्रशासनिक स्थिति का विश्लेषण करेगी, साथ ही भारत में मुक्केबाजी के संचालन पर देरी के प्रभावों का मूल्यांकन करेगी। समिति को विश्व मुक्केबाजी संगठन के साथ संवाद सहित आवश्यक कदमों की सिफारिश करने और निष्पक्ष व समय पर चुनाव के लिए एक स्पष्ट योजना प्रस्तुत करने का जिम्मा सौंपा गया है। समिति को एक सप्ताह के भीतर अपनी रिपोर्ट जमा करने को कहा गया है, ताकि विश्व मुक्केबाजी के सामने तथ्यपरक स्थिति रखी जा सके।

यह समिति खेल मंत्रालय के 5 जुलाई के पत्र के बाद गठित की गई है, जिसमें उषा से अनुरोध किया गया था कि वह विश्व मुक्केबाजी के साथ विचार-विमर्श कर राष्ट्रीय खेल संहिता 2011 और बीएफआई के नियमों के अनुरूप जल्द से जल्द चुनाव कराने की व्यवस्था करें। पिछले महीने उषा ने लुसाने में विश्व मुक्केबाजी के अध्यक्ष बोरिस वान डेर वोर्स्ट से भी मुलाकात की थी। बीएफआई के पूर्व पदाधिकारियों का कार्यकाल 2 फरवरी को खत्म हो गया था। चुनाव शुरू में 28 मार्च को होने थे, लेकिन कानूनी विवादों, अपीलों और जवाबी अपीलों के कारण यह प्रक्रिया रुकी हुई है। प्रशासनिक स्थिरता और राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं के संचालन के लिए विश्व मुक्केबाजी ने 7 अप्रैल को अजय सिंह की अगुवाई में 90 दिनों के लिए छह सदस्यीय अंतरिम समिति बनाई थी। पिछले हफ्ते विश्व मुक्केबाजी ने इस समिति का कार्यकाल बढ़ा दिया और 31 अगस्त तक चुनाव प्रक्रिया पूरी करने का निर्देश दिया। 

हालांकि, उषा ने समिति की घोषणा तो कर दी, लेकिन बीएफआई अंतरिम समिति के अंतिम सदस्य का नामांकन अभी तक नहीं किया है। बीएफआई के एक अधिकारी ने पीटीआई को बताया, “सारी स्थिति स्पष्ट है। देरी कानूनी जटिलताओं की वजह से हुई है। हमने खेल मंत्रालय, विश्व मुक्केबाजी और आईओए को सभी घटनाक्रमों की जानकारी दे दी है। हमारा लक्ष्य विश्व मुक्केबाजी की 31 अगस्त की समय सीमा से पहले चुनाव कराना है।” 

चुनाव से पहले बीएफआई आंतरिक विवादों और गुटबाजी से जूझ रहा है। निर्वाचन अधिकारी और दिल्ली उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश आरके गौबा ने अपने खिलाफ बदनामी अभियान का आरोप लगाकर पद से इस्तीफा दे दिया था। पूर्व खेल मंत्री अनुराग ठाकुर मौजूदा बीएफआई अध्यक्ष अजय सिंह के खिलाफ चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं।

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