ईरान में सुलेमानी की बरसी पर हुए दो धमाके, 95 लोगों की मौत…खामेनेई बोले- दुश्मनों को कड़ा जवाब मिलेगा – Utkal Mail

दुबई। अमेरिका की ओर से वर्ष 2020 में किये गये ड्रोन हमले में मारे गए एक पूर्व कमांडर कासिम सुलेमानी की चौथी बरसी पर बुधवार को आयोजित कार्यक्रम के दौरान हुए दो बम धमाकों में कम से कम 95 लोग की मौत हो गई। ईरानी अधिकारियों ने यह जानकारी दी। ईरान के सर्वोच्च नेता अली खामेनेई ने कहा है कि दुश्मनों को कड़ा जवाब मिलेगा।
इस हमले को ईरान में 1979 में हुई इस्लामी क्रांति के बाद सबसे घातक आतंकवादी हमला माना जा रहा है। अब तक इस हमले की किसी ने जिम्मेदारी नहीं ली है। ईरान के नेताओं ने धमाकों के लिए जिम्मेदार लोगों को दंडित करने का संकल्प जताया। हमले में कम से कम 211 लोग घायल हो गए। यह धमाके ईरान के करमान शहर में हुए जो राजधानी तेहरान से 820 किलोमीटर दक्षिण पूर्व में है। इससे पहले हमले में कम से कम 103 लोगों के मारे जाने की सूचना दी गई थी, लेकिन अधिकारियों को महसूस हुआ कि कुछ मृतकों के नाम दोबारा दर्ज हैं, जिसके बाद उन्होंने संशोधित आकड़ा जारी करते हुये मरने वालों की संख्या 95 बताई।
ईरान के स्वास्थ्य मंत्री बहरम इनोलाही ने सरकारी टेलीविजन को बताया कि कई घायलों की स्थिति गंभीर है, ऐसे में मृतकों की संख्या बढ़ने की आशंका है। ये धमाके ‘रिवोल्यूशनरी गार्ड्स’ के कुद्स फोर्स के प्रमुख रहे जनरल कासिम सुलेमानी की हत्या के चार साल पूरे होने पर करमान में उनकी कब्र के करीब आयोजित एक कार्यक्रम में हुए।
ईरान के सरकारी टेलीविजन और अधिकारियों ने हमले में बम धमाके होने की बात कही, हालांकि उन्होंने इस बारे में तत्काल विस्तार से कुछ नहीं बताया। ये हमले बेरूत में एक संदिग्ध इजराइली हमले में फलस्तीनी चरमपंथी समूह हमास के एक उप प्रमुख के मारे जाने के एक दिन बाद हुए। ईरान के आंतरिक मामलों के मंत्री अहमद वाहिदी ने सरकारी टेलीविजन को बताया कि पहला धमाका अपराह्न तीन बजे के आसपास हुआ जबकि दूसरा धमाका पहले धमाके के करीब 20 मिनट बाद हुआ। उन्होंने बताया कि दूसरे धमाके में सबसे अधिक लोगों की मौत हुई।
दुश्मनों को सुलेमानी की कब्रगाह बर्दाश्त नहीं-राष्ट्रपति
ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई ने इन धमाकों की कठोर प्रतिक्रिया देने की कसम खाई है। सरकारी मीडिया के अनुसार, खामेनेई ने एक बयान में कहा, क्रूर अपराधियों को पता होना चाहिए कि अब उनसे सख्ती से निपटा जाएगा और निस्संदेह कड़ी प्रतिक्रिया दी जाएगी। वहीं राष्ट्रपति इब्राहिम रईसी ने इसे जघन्य और अमानवीय अपराध बताया है। रईसी ने कहा कि दुश्मन शहीद जनरल सुलेमानी की कब्रगाह को भी बर्दाश्त नहीं कर पा रहे हैं।
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